गणित के अध्यापक ने जब राजनीति के गणित में किया टॉप.. अपनी लगन से कमाया राज्यपाल का पद

नई दिल्ली:- कहते हैं लगन एक छोटा सा शब्द है लेकिन जिसे लग जाती है, उसका जीवन बदल जाता है। ऐसी ही एक कहानी है बीजेपी के वरिष्ठ नेता गुलाब चंद कटारिया की। बीजेपी के कद्दावर नेताओं में गिने जाने वाले गुलाब चंद कटारिया ने अपनी मेहनत और लगन से कार्यकर्ता के पद से जो सफर शुरु किया था, वह आज राज्यपाल की कुर्सी तक जा पहुंचा है।
प्रारंभिक जीवन
गुलाब चंद कटारिया का जन्म 13 अक्टूबर 1947 को राजसमंद में हुआ था। कहते है गुलाब चंद कटारिया अपने प्रारंभिक जीवन के दौरान एक निजी स्कूल में पढ़ाया करते थे। आहाड़ क्षेत्र में उनका अपना एक विद्यालय था जहां वह गणित के अध्यापक होने के साथ ही आरएसएस से कार्यकर्ता के रूप में जुड़े।
राजनीति में पहला कदम
सन् 1977 में गुलाब चंद कटारिया ने अपनी राजनैतिक सफर की शुरुवात करी और 6वीं राजस्थान विधानसभा के लिए उदयपुर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा। पहले कदम पर ही जीत ने कटारिया का हाथ थाम लिया और इस क्षेत्र ने अपने दिग्गज नेता को कभी इस धरती पर हारने नहीं दिया। 1980 में हुए 7वीं राजस्थान विधानसभा चुनाव में कटारिया फिर खड़े हुए और जीत दर्ज कर विधानसभा सदस्य बने।
विधायक से शिक्षा मंत्री बनने तक का सफर
1981 से 1985 तक विधायक रहते हुए कटारिया ने राजस्थान विधानसभा में प्राक्कलन समिति के सदस्य की भूमिका भी निभाई। 1989 में गुलाब चंद कटारिया 9वीं लोकसभा के लिए फिर से उदयपुर से चुने गए और साथ ही लोकसभा की लोक लेखा समिति के सदस्य भी बनाए गए। इसी दौरान वे लोकसभा की कृषि संबंधी समिति के सदस्य भी रहे। 1993 में गुलाब चंद जब 10वीं राजस्थान विधानसभा में उदयपुर से निर्वाचित होकर गए तो हर तरफ उनके नाम की चर्चा थी। 1993 में उनकी उपलब्धियों को देखते हुए राजस्थान सरकार ने उन्हें प्राथमिक और माध्यमिक शिक्षा मंत्री बनाने की घोषणा की जहां उन्होंने 30 नवम्बर 1998 तक अपना कार्यभार संभाला।
गृहमंत्री पद के बने दावेदार
साल 1998 में गुलाब चंद 11वीं राजस्थान विधानसभा में फिर से चुन कर आए. 1999 से 2000 तक वे विधानसभा सदन समिति के सदस्य भी रहे. 2003 में जब गुलाब चंद कटारिया 12वीं राजस्थान विधानसभा में उदयपुर से विजयी होकर विधानसभा पहुंचे तब वसुंधरा राजे सरकार ने गुलाब चंद को लोक निर्माण विभाग और गृह मंत्री का पद सौंपा। 2008 में अपना कार्यकाल पूरा कर गुलाब चंद कटारिया फिर से विजयी होकर 13वीं राजस्थान विधानसभा के सदस्य बने, पर इस बार राजस्थान में कांग्रेस की सरकार बनी। हालांकि इस दौरान भी वे विपक्ष के नेता बने रहे।
2013 में राजस्थान में बीजेपी की जीत हुई और गुलाब चंद कटारिया को राजस्थान सरकार में पंचायती राज मंत्री बनाया गया. पिछले विधानसभा में भी उन्होंने 9वीं बार जीत दर्ज की और विधानसभा नेता प्रतिपक्ष बने और अब 2023 में उन्हें असम का राज्यपाल बनाया गया है।